बिजली कटौती को लेकर तीन किलोमीटर पैदल चलकर एसडीएम को मुख्यमंत्री के नाम सौंपा ज्ञापन
नारायणपुर (भारत कुमार शर्मा)
नारायणपुर उपखंड क्षेत्र में इन दोनों बिजली की हो रही अघोषित कटौती को लेकर राकेश दायमा के नेतृत्व में सैकड़ों युवाओं ने सोमवार को तीन किलोमीटर पैदल चलकर नारायणपुर उपखण्ड अधिकारी सुनील कुमार को राजस्थान के मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा है। उन्होंने बिजली कटौती बंद करने की बात कही है। बिजली कटौती में सुधार नहीं किया गया तो सिघ्र आन्दोलन किया जाएगा। बिजली कटौती ने लोगों के पसीने छुटा दिए हैं। जिसके चलते आम जनता ही परेशान नहीं पानी की सप्लाई भी डगमगाने लगी है। उपभोक्ताओं को हो रही दिक्कत निगम नही ला पा रही है सुधार।
गौरतलब है कि जबकि विद्युत मंत्रालय भारत सरकार ने विद्युत अधिनियम 2003 की धारा 176 के तहत 31/12/2020 को विद्युत उपभोक्ताओं के अधिकार नियम 2020 पारित किया है।इन नियमों के अन्तर्गत भारत सरकार ने प्रावधान किया है कि विद्युत वितरण कंपनियों द्वारा किसी प्रकार की अनावश्यक/ जानबूझकर लोड शेडिंग नही की जाएगी।इन नियमों के अन्तर्गत उपभोक्ताओं को 24 घंटे विद्युत आपूर्ति का अधिकार दिया गया है। लेकिन उसके बावजूद विद्युत वितरण निगम द्वारा बार-बार अघोषित कटौती कर आम जनता को परेशान किया जा रहा है। बिजली कटौती का कोई निर्धारित समय नही है जब मर्जी 132 केवी जीएसएस से बिजली गुल करदी जाती है। बिजली कटौती को लेकर बिजली ग्रिड पर बात करने पर 132 केवी जीएसएस से बिजली कटौती होना बताया जाता है जबकि 132 पर बात करने पर वहां से सप्लाई चालू बताई जाती है। आखिर बिजली कटौती फिर कहा से की जाती है। रात को एक से डेढ़ घंटे बिजली कटौती की जाती है। जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में इस समय दियाबाती और खाने का समय होता है। उसके बाद रात दस बजे बाद फिर कटौती करली गई। जिसके कारण ग्रामीण क्षेत्रों में पानी की सप्लाई भी डगमगाने लगी है। लेकिन स्थानीय जनप्रतिनिधि व जिम्मेदार अधिकारी इस ओर ध्यान नहीं दे रहे हैं। विद्युत वितरण निगम अधिकारी से बात करते हैं तो वह लोड शेडिंग का बहाना बना कर अपनी बात इतिश्री कर लेते हैं। ग्रामीणों ने बताया कि यही बिजली कटौती के हालात रहे तो रणनीति बना कर जन आंदोलन किया जाएगा जिसकी जिम्मेदारी विद्युत विभाग की होगी। जिसको लेकर एसडीएम को ज्ञापन सौंपा गया है।