पुलिस ने क्रूरता की हदें की पार: नाबालिग को 48 घंटे थाने में रखकर बुरी तरह पीटा, सीडब्ल्यूसी ने एसपी को कार्रवाई के लिए लिखा पत्र
उदयपुर (राजस्थान/ मुकेश मेनारिया) उदयपुर की खेरवाड़ा थाना पुलिस ने एक नाबालिग के साथ अमानवीय व्यवहार और क्रूरता की सारी हदें पार कर दी। खेरवाड़ा थाना पुलिस ने 14 साल एक नाबालिग बच्चे को 48 घंटे तक थाने में रखा। पुलिस कर्मियों ने उसे इतनी बेरहमी से पीटा कि उसकी कमर के नीचे के हिस्से पर गंभीर घाव हो गए। पुलिस की मारपीट से बच्चा भी इतना सहम गया कि अभी तक गहरे सदमे में हैं। मामला जब बाल कल्याण समिति तक पहुंचा तो समिति पदाधिकारियों ने इसे किशोर न्याय अधिनियम का घोर उल्लंघन बताते हुए उदयपुर एसपी विकास शर्मा को एक लेटर जारी किया। लेटर में लिखा कि नाबालिग से मारपीट करने वाले खेरवाड़ा थाना के पुलिस कर्मियों के खिलाफ जांच करवाकर तत्काल लाइन हाजिर किया जाए। दोषी पुलिस कर्मियों पर बड़ी कार्रवाई की जाए ताकि भविष्य में ऐसा कृत्य वापस नहीं कर सके। सबसे हैरानी वाली बात ये है कि उदयपुर पुलिस ने इस घटना पर अपने सोशल मीडिया ट्वीटर अकाउंट से एक ट्वीट किया है जिसमें खेरवाड़ा थाना पुलिस द्वारा नाबालिग के साथ मारपीट की बात को सिरे से खड़ा हुआ था, जो कदकाठी में दुबला- नकार दिया। ट्वीट में लिखा कि खेरवाड़ा थाना पुलिस द्वारा शराब पीकर मारपीट करने का आरोप झूठा व निराधार है। यदि किसी नाबालिग के से मारपीट हुई है तो जांच कर कार्रवाई की जाएगी। जानकारी अनुसार पुलिस की गाड़ी जब खेरवाड़ा बस स्टेण्ड गुजर रही थी। फेंका था । तब किसी ने पुलिस की गाड़ी पर पत्थर फेंका था। गाड़ी में पत्थर लग ही पुलिस तुरंत अलर्ट हुई तो वहां मौजूद कुछ लोग भागने लगे। उसी जगह एक 14 साल का नाबालिग खड़ा हुआ था जो कदकाठी में दुबला- पतला बताया जा रहा है, उसे पुलिस ने ये मानकर गाड़ी में जबरन बैठा लिया कि पत्थर उसी ने फेंका है और उस नाबालिग को थाने ले आई। 48 घंटे उसे थाने में रखा। नाबालिग को बुरी तरह पीटा गया। जबकि परिजनों का कहना है कि उनके बच्चे ने गाड़ी पर पत्थर नहीं फैंका था।