वायु की गुणवत्ता बनाए रखने के लिए कचरे का सही ढंग से निस्तारण जरुरी- मीना
थानागाजी (अलवर) नगरपालिका थानागाजी द्वारा एक तरफ़ कस्बे का मल मुत्र ज़हरीले पानी को रुपारेल नदी में डाला जा रहा है वहीं आज कल कस्बे के अपशिष्ट पदार्थ मरे हुए जानवरों कचरा आदि को वन विभाग की चौकी के पास रुपारेल नदी के किनारे औधोगिक प्रशिक्षण संस्थान के बग़ल में सड़क किनारे डाला जा रहा, कचरा डालने के बाद उसे रात्रि को देर सवेर आग के हवाले कर दिया जाता है जो पुरी रात जलता रहता है, सोचने की बात यह है कि इस समय वायु की गुणवत्ता गिरतीं जा रही है जिससे हवा में प्रदुषण का आंकड़ा अलवर में 200 के पास पहुंचने वाला है जों जन सामान्य के लिए घातक हो रहा है वहीं सरिस्का राष्ट्रीय बाघ अभयारण्य क्षेत्र के नजदीक जहां स्वच्छता की सर्वाधिक आवश्यकता है वहीं दर्जनों टेम्पो प्लास्टिक गीला सुखा कचरे व अपशिष्ट के जलाएं जातें हैं। थानागाजी के वर्तमान कचरा निस्तारण स्थल से महज़ पच्चास से सों मीटर की दूरी पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, पुलिस स्टेशन, औधोगिक प्रशिक्षण संस्थान, राजकीय महाविद्यालय, वन विभाग की चौकी सहित स्टेंट हाईवे मोजूद है लेकिन किसी को पर्यावरण बचाने चिंता नहीं अतः एल पी एस विकास संस्थान के प्रकृति प्रेमी राम भरोस मीणा ने चिंता जाहिर करते हुए इस जघन्य कृत्य पर पालिका के खिलाफ कारवाई की मांग पर्यावरण पोल्यूशन कंट्रोल बोर्ड, वनविभाग, जिला प्रशासन से कार्यवाही की मांग करते हुए जन सामान्य को जागरूक होने की बात कही जिससे एक मानव निर्मित इस आपदा से बच सकें।