झोली फैला कर रहे गायों के लिए चारे की व्यवस्था: नहीं हुए सरकारी इंतजाम तो पशुधन पर हो सकता है बड़ा संकट
खैरथल (अलवर, राजस्थान/हीरालाल भूरानी) जिले की बड़ी गौशालाओं में शुमार ततारपुर स्थित श्री किशन लाल शास्त्री धर्मार्थ गौशाला में भी सूखा चारा का भारी संकट आ खड़ा हो गया है। गौशाला के संरक्षक अनिल कुमार शर्मा व प्रवक्ता राजकुमार कौशिक ने बताया कि राज्य सीमा पार से रोक लगने के कारण चारा संकट उत्पन्न हो रहा है। एक ओर सीमावर्ती राज्यों से चारे की निकासी पर रोक लगने व बड़े किसानों द्वारा स्टाक करने से हालात दयनीय हो गए हैं। उन्होंने बताया कि भामाशाहों के सहयोग से संचालित ततारपुर गौशाला में 1200 गौवंश है, जिनके रहने के लिए बड़े बड़े शैड भामाशाहों ने बनवाएं है। पानी की पर्याप्त व्यवस्था है लेकिन यहां चारा संकट की वजह से पशुओं को मजबूरी में हरी सब्जियां खिला कर पेट भरना पड़ रहा है। गौशाला से जुड़े गोसेवक गांव गांव जाकर झोली फैला कर सूखा चारा मांग कर गो वंश का पेट भर रहे हैं।
सरकार करे सूखे चारे की व्यवस्था -
गौशाला के संरक्षक अनिल कुमार शर्मा ने राजस्थान सरकार से तुरंत कदम उठाने की मांग करते हुए कहा कि स्पेशल ट्रेन चलाकर अन्य राज्यों से सूखे चारे की व्यवस्था करनी चाहिए, अन्यथा गौशालाओं पर आए भयंकर संकट से उन्हें कोई नहीं बचा सकता।चारा डिपो अविलंब खोल कर राहत प्रदान करनी चाहिए।
कठूमर से आई गायों को किया शिफ्ट -
उन्होंने बताया कि हाल ही में कठूमर से हटाई गौशाला की गायों को कुछ संख्या में ततारपुर गौशाला में शिफ्ट किया था, वहीं गोकशी के मामले में पकड़ी जाने वाली गायों को आसपास के थानों की पुलिस भी गौशाला में छोड़ती है। वही दूसरी ओर ग्रामीण क्षेत्रों के पशुपालक चारा संकट के चलते अपने पशुधन को गौशाला में छोड़ रहे हैं। फिलहाल पशुओं के भोजन के लिए झोली फैलाने पर मजबूर होना पड़ रहा है।