सावन के हर सोमवार को होते हैं विशेष श्रृंगार के साथ कैलाशपुरी के दर्शन: सोमवार को कावड चढ़ाकर करते जलाभिषेक
उदयपुरवाटी (झुञ्झूनु, राजस्थान/ सुमेरसिंह राव) उदयपुरवाटी कस्बे में कैलाशपुरी के नाम से यहां प्रसिद्ध ऊंची पहाड़ी पर भव्य भगवान भोलेनाथ का प्राचीन मंदिर बना हुआ है। सावन के महिने में हर सोमवार को यहां के ग्रामीणों द्वारा भगवान शिव की पुजा-अर्चना के लिए भीड़ उमड़ी रहती है तो वहीं शाम को साफ सफाई के बाद विशेष पुष्प व इत्र से भगवान शिव का विशेष श्रृंगार कर रमणीक झांकी भक्तो द्वारा सजाई जाती रही है। श्रृंगारित दर्शनों के लिए भी भारी संख्या में श्रद्धालुओं कि का तांता लगा रहता है।आपको बता दे की कैलाशपुरी सेवा समिति के कार्यकर्ताओं के द्वारा यहां के मंदिर कि तमाम व्यवस्थाओं कि देखभाल की जाती रही है।प्रमुख कार्यकर्ता विनोद परियाल ने बताया कि हर सोमवार को आसपास के पवित्र तीर्थस्थल से कार्यकर्ता द्वारा कावड लाकर भोलेनाथ का सुबह जलाभिषेक किया जाता हैं। सोमवार को दिनभर ग्रामीण पुजा अर्चना करते हैं।शाम को विशेष श्रृंगार किया जाता है। इस वर्ष सावन का महीना दो बार आया है जिसको अधिकमास कहा गया है। समिति के अध्यक्ष बिरजू नारनोलिया ने बताया कि मंदिर पहाड़ी पर स्थित होने से बरसात अच्छी होने पर एक रमणीय स्थल सा नजर आता है क्योंकि चारों ओर हरियाली छाई हुई रहती है व गांव का सुंदर नजारा देखने को मिलता है।मंदिर पुराना जरूर पर शिव भक्तों व भामाशाहों के सहयोग से मंदिर परिसर में बैठने के लिए कुर्सी, पेयजल व्यवस्था एवं मंदिर का जिर्णोद्धार भी कराया गया है।इस दौरान पुजारी झाबरमल सैनी,विनोद कुमार सैनी,रामपाल कुमावत,अनुराग भार्गव, आजाद भार्गव,अशोक कुमार आदि मिलकर भगवान भोले के मंदिर को नया रूप देने में व नई नई सजावट सजाने में इनका और अन्य कार्यकर्ता ओ का भरपूर सहयोग देखने को मिलता हैं।