शिक्षिका ने पहले पति के फर्जी डेथ सर्टिफिकेट पर ली नौकरी, 88 लाख की उठाई सैलरी,अब खुली पोल
फर्जी तरीके से सरकारी शिक्षिका बनने की चाह मे फर्जीवाड़ा करने का मामला सामने आया है जिसमे महिला ने तीन –तीन शादिया की
फर्जी तरीके से सरकारी शिक्षिका बनने की चाह मे फर्जीवाड़ा करने का मामला सामने आया है जिसमे महिला ने तीन –तीन शादिया की जिनमे से पहले पति से तलाक लिया फिर दूसरे से शादी कर ली फिर इस बीच पहले पति की मृत्यु हो गई जिसका फर्जी मृत्यु प्रमाणपत्र बनवा विधवा कोटे से शिक्षका बन गई ओर इस बीच उसने दूसरे पति को भी तलाक दे दिया ओर शिक्षिका ने तीसरी शादी कर ली लेकिन तीसरे पति से अनबन होने पर पुलिस को परिवाद दिया तो पूरे फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ ओर अब इस मामले में शिक्षा विभाग भी कार्रवाई करेगा मंजू देवी की पोस्टिंग 2008 में हुई थी 2011 में वह स्थायी हो गई, हाल फिलहाल उसका मासिक वेतन 70 हजार रुपये है शिक्षा विभाग के अनुसार उसने अब तक करीब 88 लाख का वेतन उठाया है पुलिस ने आरोपी मंजू देवी को कोर्ट में पेश किया जहां से उसे न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया
यह मामला झुंझुनूं के गुड़ागौड़जी थाना क्षेत्र का है जहां कि मंजू देवी (38) पुत्री रामकुमार निवासी बिड़ोदी छोटी पहले पति के फर्जी डेथ सर्टिफिकेट से नौकरी के मामले में पुलिस ने एक महिला टीचर को गिरफ्तार किया है। महिला ने फर्जी डॉक्टयुमेंट पर वर्ष 2008 मे ग्रेड थर्ड की नौकरी ली और 14 साल में 88 लाख रुपए की सैलरी उठाई। हैरानी की बात यह थी कि महिला टीचर ने तीन शादियां की थीं। महिला का तीसरा ससुराल जिले के तोंगड़ा मे है तीसरे पति से झगड़ा हुआ तो उसने सारी करतूत पुलिस को बता दी। जांच में दोषी पाए जाने पर शनिवार को उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया।
थानाधिकारी संजय वर्मा ने बताया कि गिरफ्तार मंजू देवी (38) पुत्री रामकुमार सीकर जिले के बिड़ोदी छोटी की रहने वाली है। मंजू का तीसरा ससुराल तोगड़ा में है। फिलहाल महिला चौमूं के पास गोविंदगढ़ पंचायत समिति की ढाणी इटावा के स्कूल में शिक्षक के पद पर तैनात है। पुलिस जांच में सामने आया कि मंजू की शादी जून 1996 में खेदड़ों की ढाणी (लोचिबा की ढाणी) तन गुढ़ागौडजी के रामनिवास उर्फ निवासराम पुत्र भूराराम जाट से हुई थी। करीब चार साल बाद 2000 में इनका तलाक हो गया। इसके बाद दोनों ने दूसरी शादी कर ली। मंजू कुमारी ने लक्ष्मणगढ़ के कुमास निवासी बाबूलाल से शादी की। इस बीच रामनिवास की 11 दिसंबर 2001 को मौत हो गई। इसका डेथ सर्टिफिकेट 20 दिसंबर 2001 को जारी हुआ। सरकारी नौकरी के लिए मंजू ने दूसरी शादी की बात किसी को नहीं बताई। इसके साथ ही दूसरी शादी के बाद भी पहले पति का एक साल पहले का फर्जी डेथ सर्टिफिकेट बना 2008 में ग्रेड थर्ड टीचर की नौकरी पर लग गई। पहले पति की मौत 2001 में हुई थी। सरकारी नौकरी के लिए मंजू ने वर्ष 2000 का फर्जी डेथ सर्टिफिकेट बनाया जिसमे तारीख 15 फरवरी 2000 लिखी हुई है जबकि उस समय वह जिंदा था
दूसरे पति के साथ भी शादी लंबी नहीं चली। अनबन के बाद दूसरे पति बाबूलाल से भी तलाक हो गया। इसके बाद 3 जून 2011 को तोगड़ा निवासी महेश कुमार से तीसरी शादी की। इनके बीच भी अक्सर अनबन होने लगी। मंजू देवी ने तीसरे पति महेश कुमार के खिलाफ दहेज प्रताड़ना का मामला दर्ज करवा दिया। महेश कुमार ने 2021 में झुंझुनूं एसपी को इसकी शिकायत दी। एसपी के सामने मंजू के फर्जीवाड़े का खुलासा किया। मामले में जांच बैठाई गई। अधिकारियों ने बताया कि जांच में यह भी सामने आया कि वह अब तक करीब 88 लाख रुपए की सैलरी ले चुकी थी।